शोध में यह भी अनुमान लगाया गया कि दिल्ली-एनसीआर में हर चार में से एक वयस्क यानी लगभग 26% आबादी यदि सिरदर्द दूर करने वाले किसी प्रोफेशनल केयर की हेल्प लें तो काफी हद तक लाभ मिल सकता है.
क्या है इस सिरदर्द की वजह?
इस स्टडी ये बात सामने आई है कि पुरुषों की तुलना में सिरदर्द की समस्या महिलाओं में अधिक होती है. आज सिरदर्द और माइग्रेन लोगों के लिए एक बड़ा बोझ बनता जा रहा है. इस अध्ययन में शामिल प्रतिभागी दिल्ली के कई हाई लेवल कॉलोनी में रहने वाले लोग थे. डॉ. कृष्णन के अनुसार, ये सिरदर्द किसी अंतर्निहित स्वास्थ्य समस्या के कारण नहीं, बल्कि ये मुख्य प्राथमिक विकार था. कई बार सिरदर्द लगातार बनी रहे तो ये विकलांगता का कारण भी बन सकती है. अध्ययन में ये भी पता चला है कि स्ट्रोक के बाद किसी व्यक्ति में विकलांगता पैदा करने की दूसरी बड़ी वजह माइग्रेन हो सकती है. इससे लोगों की लाइफस्टाइल, खानपान, कार्य सबकुछ प्रभावित हो सकती है.
सिरदर्द का ये बोझ उन लोगों पर अधिक पाया गया, जो किसी ना किसी तरह की दवाई का सेवन अधिक करते थे. साथ ही अन्य प्रकार के सिरदर्द भी इसमें शामिल थे. इस तरह का सिरदर्द इन लोगों में 15 दिनों से अधिक बना रहता था.
सिरदर्द दूर करने के उपाय
-यदि आपको भी हर दिन हल्का सिरदर्द रहता है तो इसे आप नरजअंदाज न करें. डॉक्टर से जरूर दिखा लें.
-सिरदर्द कई बार नींद पूरी नहीं होने के कारण भी होता है. इसके लिए आप देर रात तक न जागें. नींद पूरी न होने से सुबह उठते ही भारी महसूस होता है. सिरदर्द से आप सारा दिन परेशान रह सकते हैं.
-डाइट में पौष्टिक चीजें शामिल करें. ब्रेन फंक्शन को बूस्ट करने के लिए मस्तिष्क को हेल्दी रखने वाली चीजें खाएं.
-हर दिन एक्सरसाइज करें, योग, मेडिटेशन करें ताकि आप शारीरिक और मानसिक रूप से फिट और हेल्दी महसूस कर सकें.