Last Updated:
देहरादून. आलू को यूं ही सब्जियों का राजा नहीं कहा जाता, इसका स्वाद और उपयोगिता दोनों ही लाजवाब हैं – चाहे परांठे हों, रायता या फिर सब्जियां. लेकिन, उत्तराखंड के पहाड़ों में एक ऐसा खास किस्म का आलू भी पाया जाता है जो ज़मीन में नहीं, बल्कि लताओं में हवा में लटकता है. इसी वजह से इसे ‘एयर पोटैटो’ कहा जाता है. स्थानीय भाषा में इसे ‘गेठी’ कहा जाता है, जो न सिर्फ स्वाद में बेहतरीन है, बल्कि औषधीय गुणों से भी भरपूर मानी जाती है.
उत्तराखंड के पर्वतीय के लगभग 2 हजार मीटर ऊंचाई वाले क्षेत्रों में आलू की तरह ही नजर आने वाली एक सब्जी पाई जाती है.

उत्तराखंड के पहाड़ी इलाकों में ज्यादा ऊंचाई पर एक खास तरह का कंदमूल मिलता है, जिसे स्थानीय भाषा में गेठी कहा जाता है. गेठी औषधीय गुणों से भरपूर मानी जाती है. गेठी को अंग्रेजी में ‘एयर पोटैटो’ भी कहा जाता है. आलू के समान नजर आने वाली गेठी की तासीर गर्म होती है.

उत्तराखंड के पहाड़ी जिलों में बारिश के बाद अक्टूबर और नवंबर के महीने में यह लताओं में लगी हुई नजर आती है.

वनस्पति विज्ञान के प्रोफेसर डॉ. ललित तिवारी ने जानकारी दी है कि एयर पोटैटो का बॉटनिकल नेम डाओसकोरिया बल्बिफेरा है. इसका उपयोग औषधि के रूप में पुराने वक्त से होता आया है. पहाड़ों पर इसकी सब्जी बनाकर खाई जाती है.

प्रोफेसर तिवारी बताते हैं कि गेठी से संबंधित अहम जानकारियां चरक संहिता में भी मिलती हैं, जिसमें इसके औषधीय गुणों का जिक्र है. गेठी भारत के पहाड़ी जिलों में अपने आप हो जाती है, लेकिन, मुख्य रूप से इसका उत्पादन नाइजीरिया देश में होता है.

पहाड़ी क्षेत्रों के लोग गेठी की अलग-अलग तरह की सब्जी बनाकर खाते हैं, लेकिन इसे ऐसे भी खाया जाता है. कुछ लोग गेठी को उबालते हैं या फिर राख में भूनकर पहाड़ी नमक के साथ इसका स्वाद लेते हैं. कुछ लोग गेठी को सलाद के रूप में भी खाना पसंद करते हैं.

प्रोफेसर ने जानकारी दी कि गेठी को औषधि के रूप में भी प्रयोग किया जाता है. यह भयंकर खांसी को भी ठीक कर देती है. गेठी में ग्लूकोज और फाइबर प्रचुर मात्रा में पाया जाता है, जिसके चलते यह एनर्जी बूस्टर का भी काम करती है. गेठी में कॉपर, आयरन, पोटेशियम, मैग्नीज भी पाए जाते हैं. एयर पटैटो विटामिन बी का बेस्ट सोर्स है. वहीं, गेठी को पीसकर इसका लेप लगाने से फोड़े-फुंसी भी ठीक हो जाती हैं. कोलेस्ट्रॉल को कंट्रोल करने में भी गेठी मदद करती है.
.