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शाकाहारियों में मशरूम का क्रेज कुछ इस कदर रहता है, जैसे मांसाहारियों में मटन का. हालांकि, मांस नहीं खाने वाले ज्यादातर लोग कुछ ऐसे स्वाद की तलाश में रहते हैं, जिससे उनकी आत्मा तृप्त हो सके. आज हम आपको एक ऐसी ही सब्जी के बारे में बता रहे हैं जिसका स्वाद बिल्कुल मटन की तरह लगता है.
जानकार बताते हैं कि यह सब्जी कोई और नहीं, बल्कि मशरूम की ही एक प्रजाति है, जिसे भुट्की के नाम से जाना जाता है. अन्य मशरूम की तुलना में भुटकी एक जंगली मशरूम है, जो मुख्य रूप से जंगलों में मिट्टी के नीचे प्राकृतिक रूप से उगता है.

यूपी, बिहार और नेपाल के वन वर्ती क्षेत्रों में बसे लोग इसे बड़े चाव से खाते हैं. बिहार के पश्चिम चम्पारण ज़िले में स्थित वाल्मीकि टाइगर रिज़र्व के समीप बसे ग्रामीण बताते हैं कि घने जंगल में यह सब्जी दीमक के टीलों के आसपास उगती है.

मुख्य रूप से भालू इसे खाना बेहद पसंद करते हैं. इसलिए कई बार वो रहने के लिए अपनी गुफा भुटकी वाली क्षेत्र में ही बना लेते हैं.

विशेषज्ञ बताते हैं कि भुटकी मुख्य रूप से बरसात के दिनों में उगता है. वन्य जीवों से भरे घने जंगल में उगने की वजह से इसे इकट्ठा करना बेहद मुश्किल और खतरों से भरा होता है. साथ ही जंगल की अमानत होने की वजह से भी इसे तोड़कर लाना वन कानून के तहत कानून अपराध माना जाता है.

हालांकि, इन सभी परेशानियों के बावजूद भी ग्रामीण इसे चुन लाते हैं और स्थानीय बाजार में 1000 रुपए प्रति किलो की दर तक बेचते हैं. इस सब्जी के बारे में सबसे रोचक बात यह बताई जाती है कि यह जंगल की आग से बनने वाली राख में उगती है. यही कारण है कि इसका ऊपरी रंग काला होता है, लेकिन जैसे ही आप इसे पानी से धोते हैं यह सफेद दिखने लगती है.

मजे की बात यह है कि इसका स्वाद मटन से मिलता है. यदि आप इसे कायदे से बनाते हैं तो यकीन मानिए कि खाने वाले अपनी उंगलियां तक चाटने को मजबूर हो जाएंगे. यही कारण है कि मांस नहीं खाने वाले लोग इसे खाना बेहद पसंद करते हैं. हां, इस बात का ध्यान जरूर रखें कि पकाने से पहले इसकी अच्छी सफाई बेहद अनिवार्य होती है.
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