JPSC Result: इसे कहते हैं ताबड़तोड़ तैयारी, 5 साल पहले फेल हुए, पर नहीं मानी हार, अब किसान का बेटा बनेगा DSP

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JPSC Result: रोबिन कुमार ने झारखंड संयुक्त असैनिक सेवा परीक्षा 2023 में सातवां स्थान प्राप्त किया और अब DSP बनेंगे. उन्होंने पांच साल की मेहनत के बाद सफलता पाई. उनकी कहानी युवाओं के लिए प्रेरणा है.

हाइलाइट्स

  • रोबिन कुमार ने JPSC परीक्षा में 7वां स्थान प्राप्त किया
  • रोबिन अब झारखंड पुलिस में DSP बनेंगे
  • रोबिन की कहानी युवाओं के लिए प्रेरणा है
हजारीबाग: झारखंड संयुक्त असैनिक सेवा प्रतियोगिता परीक्षा 2023 का परिणाम जारी कर दिया गया है. हजारीबाग के बड़कागांव प्रखंड स्थित गंगादोहर गांव का नाम पूरे राज्य में गर्व से गूंज उठा है. गांव के लाल रोबिन कुमार ने पूरे झारखंड में सातवां स्थान प्राप्त कर अपने परिवार और क्षेत्र का नाम रोशन किया है. अब रोबिन झारखंड पुलिस में DSP के रूप में सेवा देंगे.

रोबिन एक साधारण और मध्यमवर्गीय परिवार से आते हैं. उनके पिता कृषक हैं और माता एक गृहिणी. अपनी प्रारंभिक पढ़ाई उन्होंने बड़कागांव के सरकारी विद्यालय से पूरी की. इसके बाद उन्होंने मार्खम कॉलेज ऑफ कॉमर्स से स्नातक की डिग्री प्राप्त की. उन्होंने सिविल सेवा की तैयारी हजारीबाग के एक लॉज के छोटे से कमरे में रहकर की.

असफलता के 5 साल बाद मिली सफलता
बातचीत के दौरान रोबिन ने बताया कि उन्होंने वर्ष 2020 में भी इस परीक्षा में इंटरव्यू तक का सफर तय किया था, लेकिन अंतिम चयन नहीं हो पाया था. इसके बावजूद उन्होंने हार नहीं मानी और लगातार पांच वर्षों तक मेहनत जारी रखी. आखिरकार उनकी मेहनत रंग लाई और उन्होंने झारखंड में टॉप-10 में अपनी जगह बना ली.

उन्होंने आगे बताया कि सफलता की खबर मिलते ही हजारीबाग में उनके लॉज में खुशी का माहौल बन गया. रिजल्ट आने के बाद सुबह 3:00 से ही लगातार लोग उन्हें फोन कर कर बधाई दे रहे हैं. वहीं गांव में उनके माता-पिता भावुक हैं और अपने लौटने का बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं.

रोबिन के बड़े भाई झारखंड पुलिस में कार्यरत हैं और साथ में JPSC की तैयारी भी कर रहे हैं. उन्होंने भी इस उपलब्धि पर गर्व जताया और कहा कि यह सफलता पूरे परिवार और गांव के लिए प्रेरणा है.

असफल उम्मीदवारों को रोबिन का संदेश
असफल उम्मीदवारों के लिए रोबिन ने संदेश देते हुए कहा कि हार से डरना नहीं है. यदि निरंतरता और आत्मविश्वास बनाए रखें तो सफलता एक दिन जरूर मिलेगी. अपने लक्ष्य को बनाए रखें और मेहनत करते रहें. रोबिन की सफलता इस बात का प्रमाण है कि संसाधन नहीं, बल्कि संकल्प और मेहनत ही सफलता की असली कुंजी हैं. उनकी कहानी उन हजारों युवाओं के लिए प्रेरणा है जो सीमित संसाधनों में भी बड़े सपने देख रहे हैं.

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हजारीबाग के रोबिन बनेंगे DSP.. दूसरे प्रयास में आया 7th रैंक

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