इस घटना ने न सिर्फ स्वास्थ्य व्यवस्था की खामियों, बल्कि ग्रामीण इलाकों में आपातकालीन सेवाओं की बदहाली को उजागर कर दिया है। परिजनों और ग्रामीणों ने प्रशासन से 108 सेवा की सक्रियता बढ़ाने और पागल कुत्तों से सुरक्षा के उपाय करने की मांग की है।
By Navodit Saktawat
Publish Date: Thu, 10 Jul 2025 04:05:20 PM (IST)
Updated Date: Thu, 10 Jul 2025 04:07:14 PM (IST)
HighLights
- बाद में अस्पताल स्टाफ ने सभी घायलों को एंटी रैबीज इंजेक्शन लगाया।
- इसके बाद उन सभी को जिला अस्पताल सतना रेफर कर दिया गया।
- यह कहकर कि घाव गहरे हैं और इसका बेहतर उपचार वहां ही संभव है।
नागौद। सतना जिले के नागौद अंतर्गत आने वाले ग्राम श्यामनगर में गुरुवार सुबह उस समय हडक़ंप मच गया जब एक पागल कुत्ते ने गांव के चार मासूम बच्चों पर हमला कर उन्हें बुरी तरह काट खाया। यह दर्दनाक घटना सुबह 8 बजे के आसपास हुई, जब बच्चे अपने घर के बाहर खेल रहे थे। घायलों में सत्यम कोल (6 वर्ष), जितेंद्र कुशवाहा (10 वर्ष), रौनक चौधरी (8 वर्ष) और सिद्धू कोल (2 वर्ष) शामिल हैं। कुत्ते के हमले से बच्चों के हाथ, पैर व अन्य अंगों में गंभीर घाव हो गए। परिजन आनन-फानन में बच्चों को लेकर नागौद के सिविल अस्पताल पहुंचे, लेकिन अस्पताल का गेट सुबह 11 बजे खुला, जिसके चलते इलाज में अनावश्यक देरी हुई।
बाद में अस्पताल स्टाफ ने सभी घायलों को एंटी रैबीज इंजेक्शन लगाया। उन्हें जिला अस्पताल सतना रेफर कर दिया गया। यह कहकर कि घाव गहरे हैं और बेहतर उपचार वहां ही संभव है।
परिजनों ने बताया कि उन्होंने तत्काल 108 एंबुलेंस सेवा को कई बार फोन किया, लेकिन कोई जवाब नहीं मिला और न ही सुविधा उपलब्ध हो सकी। अंतत: थक-हारकर परिजन बस के जरिए बच्चों को जिला अस्पताल सतना ले गए।
इस दौरान गांव वालों ने बताया कि घायल करने वाले कुत्ते को पकडक़र बांध दिया गया था, लेकिन कुछ ही देर बाद उसकी मौत हो गई। आशंका जताई जा रही है कि कुत्ता रैबीज संक्रमित था।
घटना ने न सिर्फ स्वास्थ्य व्यवस्था की खामियों, बल्कि ग्रामीण इलाकों में आपातकालीन सेवाओं की बदहाली को उजागर कर दिया है। परिजनों और ग्रामीणों ने प्रशासन से 108 सेवा की सक्रियता बढ़ाने और पागल कुत्तों से सुरक्षा के उपाय करने की मांग की है।
.