RBI MPC Meeting: भारतीय रिज़र्व बैंक (RBI) की मौद्रिक नीति समिति (MPC) की तीन महीने में एक बार होने वाली बैठक इस सप्ताह शुरू हो गई है. इस बैठक में भारतीय अर्थव्यवस्था से जुड़े प्रमुख संकेतकों जैसे रेपो रेट, जीडीपी ग्रोथ, सीपीआई (उपभोक्ता मूल्य सूचकांक) महंगाई और लिक्विडिटी की स्थिति का मूल्यांकन किया जाएगा.
एमपीसी की टाइमिंग क्यों है अहम?
यह बैठक ऐसे समय हो रही है जब भारत और अमेरिका के बीच व्यापार समझौता विफल हो चुका है. साथ ही, अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने भारत पर 25 प्रतिशत टैरिफ लगाने का ऐलान किया है और रूस से तेल खरीद पर उच्च सीमा शुल्क लगाने की भी धमकी दी है. ऐसे माहौल में आरबीआई की मौद्रिक नीति पर बाजार और विशेषज्ञों की पैनी नजर है.
विशेषज्ञों का मानना है कि इस बार केंद्रीय बैंक रेपो रेट में कोई बदलाव नहीं करेगा और यथास्थिति बनाए रख सकता है. वर्ष की शुरुआत में आरबीआई की अगुवाई वाली एमपीसी पहले ही 100 बेसिस प्वाइंट की कटौती कर चुकी है. इस समय सीपीआई सामान्य स्तर पर है, इसलिए जब तक भारत और अमेरिका के बीच व्यापार वार्ता स्पष्ट नहीं होती, तब तक आरबीआई कोई बड़ा कदम टाल सकता है.
गौरतलब है कि एमपीसी में आरबीआई गवर्नर के अलावा केंद्रीय बैंक के वरिष्ठ अधिकारी और सरकार द्वारा नियुक्त तीन सदस्य शामिल होते हैं.
कब और कहां देखें?
आरबीआई की एमपीसी की बैठक 4 अगस्त 2025 को शुरू हुई है. इस बैठक में लिए गए फैसलों की जानकारी 6 अगस्त 2025 को सुबह 10 बजे आरबीआई गवर्नर संजय मल्होत्रा द्वारा दी जाएगी. यह बयान आरबीआई के आधिकारिक यूट्यूब चैनल पर लाइव देखा जा सकेगा.
विशेषज्ञ आरबीआई की मौद्रिक नीति, जीडीपी ग्रोथ और महंगाई के ट्रेंड्स पर गवर्नर के रुख को बहुत करीब से देखेंगे. अमेरिका द्वारा टैरिफ और डेयरी आयात को लेकर दी गई धमकियों के बीच यह बैठक भारतीय अर्थव्यवस्था के लिहाज से काफी अहम मानी जा रही है.
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